देहरादून। सरस्वती विहार विकास समिति अजबपुर खुर्द देहरादून के तत्वावधान में तीसरे दिन की रामलीला में सीता स्वयंवर हुआ। राजा जनक ने स्वयंवर रचाया कि जो भी राजा शिव के धनुष पर चिल्ला चढ़ाएगा उसी के साथ सीता का विवाह होगा। देश-विदेश के सभी राजा सीता के स्वयंवर में आए, गुरु विश्वामित्र अपने शिष्य राम और लक्ष्मण के साथ जनकपुर पहुंचे, जब धनुष को कोई भी नहीं तोड़ सका तो गुरु विश्वामित्र ने रामचंद्र जी को धनुष पर चिल्ला चढ़ाने की अनुमति दी राम ने धनुष पर चिल्ला चढ़ाया और राम जी का विवाह सीता से हो गया। जनकपुर से दूध अयोध्या पत्र लेकर आता है और राजा दशरथ को शीघ्र बारात जनकपुर लेकर आने को कहते राजा दशरथ पूरी बारात के साथ जनकपुर पहुंचते हैं बड़ी धूमधाम से सीता और राम का विवाह हो जाता है।
आज सीता के विवाह के अवसर पर क्षेत्र की सभी महिलाएं पीले वस्त्र पहनकर पंडाल में आई और उन्होंने माता सीता को उपहार स्वरूप वस्त्र एवं अन्य सामान भेंट की और पंडाल में बहुत उत्सव मनाया पंडाल में उपस्थित भारी संख्या में लोगों ने राम और सीता के विवाह के साक्षी बने।
इस अवसर पर समिति के पदाधिकारी के अलावा काफी संख्या में मातृशक्ति एवं बुजुर्ग लोग उपस्थित थे जिसमें लक्ष्मी रावत, सुषमा रावत, रीना रावत निर्मला बिष्ट, हेमलता नेगी, राजेश्वरी नेगी, वैशाली रावत, बिमला थपलियाल, सुनीता नौटियाल, पूनम चैधरी, बबली जोशी, बबीता पोखरियाल, सुनीता चमोली, निर्मला बेडवाल, उषा रावत, सुमन नेगी, सोनी नैथानी, राखी रावत, निशा नैथानी, सोना राणा आदि उपस्थित थे।